Incest पूरे खानदान का इकलौता वारिस(incest adultry faintsy)

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सबसे पहले तो सभी दोस्तों को मेरी कहानी में स्वागत है। यह कहानी पूर्ण रूप से कल्पना पर आधारित है तो इस कहानी में किसी भी तरह का लॉजिक ढूढना गलत होगा और अभी मैं नई हो तो कुछ गलतियां हो सकती है इसके लिए आप सबसे पहले ही माफी मांग रही हु ।

परिचय
***महेश शर्मा (घर के मुखिया) ***
इनकी उम्र अड़तालीस साल है और यह दिल्ली शहर के सबसे मंहगे इलाके में बहुत बड़ी कपड़े की शॉप है जिसको इन्होंने खुद के दम पर खड़ा किया है और आज दिल्ली के टॉप के दुकानों में से एक है और यह पांच मंजिला शॉप है जिसको यह अपने बड़े बेटे के साथ मिलकर चलाते है।।


इनकी दो शादियां हुई है
पहली बीवी और उसके बच्चे

****अंजली शर्मा***(मर चुकी है )
यह महेश की पहली बीवी थी और जुड़वा बच्चो को जन्म देने के साथ ही इनकी मौत हो गयी।यह गरीब परिवार से थी और कम उम्र में शादी और बच्चा होने की वजह से इनकी हालात खराब हो गयी और यह अपनी पहली डिलवरी के वक्त ही जुड़वा बच्चों को जन्म देने के बाद ही इनकी मौत हो गयी।

इसमें सबसे बड़ी बेटी

****श्रुति शर्मा****
उम्र चौबीस साल
साइज छतीस - अठाइस- चौतीस

पेशा एच डी फ़ सी बैंक में मैनेजर
यह दिखने में किसी टॉप मॉडल से कम नही है और बचपन से ही पढ़ाई में बहुत अच्छी थी और अपनी पढ़ाई पूरी करने के साथ ही बहुत अच्छी जॉब भी मिल गयी ।यह बहुत ही खुशमिजाज लड़की है।

दूसरे नम्बर पर बेटा

*****राजन शर्मा ****
उम्र चौबीस साल

पेशा अपने पापा के साथ शॉप पर ही काम करता है
यह पढ़ने में बचपन से ही कमजोर था लेकिन बिजनेस में दिमाग अच्छा चलता था इसलिए ही इण्टर करने के बाद ही पूरी तरह से दुकान के कामो में लग गया और आज यह दुकान जिस मुकाम पर है उसमें सबसे बड़ा हाथ इसके दिमाग का ही है।।

राजन की वाइफ

****रिया शर्मा****
उम्र तेईस(23) साल
साइज -: चौतीस- छब्बीस -बत्तीस

पेशा -हाउसवाइफ
रिया पढ़ी लिखी लड़की है और शादी के बाद घर की देखभाल करने के साथ पूरे परिवार की सहमति के बाद आईपीएस की तैयारी कर रही है। यह भी दिखने में किसी सुपर मॉडल से कम नही है। यह मिडिल क्लास परिवार से बिलॉन्ग करती है और इसलिए पढ़ी लिखी होने के बाद भी अपने से कम पढे लिखे लड़के से शादी कर ली।

दूसरी बीवी और उसके बच्चे

****नम्रता शर्मा****
उम्र छियालीस (46)साल
साइज-: चौतीस -अठाइस -छत्तीस

पेशा डॉक्टर (बाल रोग चिकित्सक)
यह दिल्ली की टॉप बच्चों की डॉक्टर है । यह बहुत ही नेक दिल और सभी से प्यार करने वाली है और चाहे कितनी भी बिजी हो सुबह का नाश्ता अपने हाथों से ही बना कर पूरे परिवार को देती है। इन्होंने भी दो शादियां की थी पहली घर वालो की मर्जी से लेकिन पहले पति के जालिम बर्ताव की वजह से इन्होंने तलाक ले लिया था पर उस वक्त तक यह एक माह की गर्भवती थी जो इनको बाद में मालूम हुआ। इन्होंने खुद को अभी तक पूरी तरह से फिट रखा है ।कोई देख कर यह नही कह सकता है कि यह इतनी उम्र की है

इनकी कुल तीन बेटियां और एक बेटा है


सबसे बड़ी बेटी
****रेखा शर्मा****

उम्र -छब्बीस साल
साइज - छतीस- अठाइस -छत्तीस

पेशा -पीएचडी करने के बाद दिल्ली यूनिवर्सिटी में इंग्लिश की प्रोफेसर है।।।
वैसे तो इनका घर से खून का रिश्ता नहीं है और बहुत कम समय मिला घर पर सबके साथ रहने का पर जॉब लगने के बाद घर पर ही रह रही है।यह भी अपनी माँ की तरह बहुत खूबसूरत है और अभी तक शादी नही किया है।

दूसरे नम्बर

*****प्रिया शर्मा****
उम्र बाइस(22) साल
साइज-: चौतीस-छब्बीस-बत्तीस
पेशा -स्टूडेंट Mbbs की लास्ट साल है और अपनी माँ के साथ ही प्रेक्टिस कर रही है।

तीसरी बेटी
****काजल शर्मा****
उम्र -बीस साल
साइज-: चौतीस-छब्बीस-छत्तीस

पेशा - स्टूडेंट B tech कर रही है
घर में सबकी जान बेहद खूबसूरत और जवान लड़की जिसे पूरे परिवार में सभी लोग बहुत प्यार करते है। यह दिल्ली यूनिवर्सिटी से पढ़ाई कर रही है।

घर का सबसे छोटा मेम्बर

****रोहित शर्मा****( हीरो)
उम्र - अठारह साल
लम्बाई - छः फिट पांच इच,

पेशा -स्टूडेंट् इण्टर पास करने के बाद अभी कालेज जॉइन करने वाला है।
यह जूनियर नेशनल लेवल पर फुटबाल का खिलाड़ी है ।इसके साथ बॉक्सिंग में बहुत अच्छा है। इसने अपनी बॉडी और खेल पर बहुत मेहनत किया है जिसकी पढ़ाई में उतना अच्छा नहीं है जितना बाकि के परिवार के लोग है ।लेकिन इसने दूसरे छेत्रो में अपना बहुत नाम बना लिया है।

कहानी में बाकी के लोग जैसे आते जाएंगे अपडेट देती जाउंगी
कहानी सुरु करते है
 
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भाग एक

सुबह के वक्त में दिल्ली के कनाट प्लेस में मौजूद एक बंगले के अन्दर इस वक्त नम्रता सुबह का नाश्ता तैयार कर रही थी और उनके साथ उनकी बहू रिया जिसकी शादी कुछ ही महीनों पहले हुई थी और जैसा कि पहले ही बता चुका हूं कि वह एक मिडिल क्लास परिवार से आती है तो उसके अन्दर बड़े घर की लड़कियों की तरह कोई घमण्ड नहीं था ।वह हर दिन अपनी सास के साथ मिलकर किचन का पूरा काम करती थी और बाकि के टाइम वह अपनी तैयारियां करती थी। अब वैसे भी घर मे सभी काम करने के लिए लिए मेड थी लेकिन नम्रता के बनाये गए नियम के अनुसार सुबह का नाश्ता वह खुद तैयार करती थी। आज भी वही हो रहा था। सभी कुछ तैयार कर लेने के बाद वह रिया से बोली

नम्रता -
रिया बेटा ऐसा करो कि जाकर अपनी लाडली काजल को उठा दो वरना आज वह पहले दिन ही कालेज के लेट हो जाएगी ।

रिया को हर दिन सुबह का यही काम करना होता था लेकिन आज जब वह किचन से बाहर जाने लगी तो देखा कि आज रिया उठ कर तैयार होकर चारो बहनें एक साथ नीचे आ रही थी और यह देख कर रिया के फेस पर एक मुस्कान तैर गई और फिर वह मूढ़ कर वह अपनी सास से बोली

रिया-
माँ अब उनको जगाने की जरूरत नही है क्यूंकि वह और बाकि के सभी बहने एक साथ आज आ रही है लगता है कि आज कोई खास बात है जो यह लोग आज एक साथ नीचे आ गयी है।

रिया की बात सुनकर नम्रता के दिमाग मे एक बात तुरन्त याद आती है और वह तुरन्त अपना फोन निकाल अपनी सेक्रेटरी को फोन करके कुछ बोली और फिर वह मूढ़ कर रिया से बोलती है

नम्रता -
अरे अच्छा हुआ बेटा जो इनकी वजह से मुझे याद आ गयी वरना मैं तो भूल ही गयी थी कि आज रोहित का अठारहवा जन्मदिन है वरना आज वह मेरी जान ले लेता ।।

रिया जब यह सुनती है तो वह चौक जाती है और फिर बहुत धीमी आवाज में बोलती है

रिया -
मुझे तो किसी ने बताया ही नही कि आज देवर जी का जन्मदिन है मैंने तो कोई गिफ्ट भी नही लिया है।

अभी उसकी बातों का नम्रता कोई जवाब देती उसके पहले ही राजन किचन में आते हुए बोलता है

राजन -
रिया तुमको चिन्ता करने की कोई जरूरत नहीं है मैंने हम दोनों की तरफ से आज उसके लिए उसकी पसन्द की स्पोर्ट्स कार ली है और यह आज हम दोनों उसको देंगे।।

इधर मैं अपने जन्मदिन को कभी भी याद नही रखता था अक्सर मुझे मेरी बहनें ही याद दिलाया करती थी और उसमें भी सबसे पहले भी श्रुति दीदी ही बधाई देती है और उन्होंने मुझे बचपन से ही एक माँ की तरह प्यार दिया है । सभी बहनो में एक वही थी जो कि मेरी हर गलती को सभी से छुपा लेती थी । आज भी जब मैं अपना सुबह का एक्सरसाइज करके जब घर आया तो मैं पूरी तरह से पसीने में भिगा हुआ था लेकिन इन सब बातों को नजरअंदाज करते हुए श्रुति दीदी तुरन्त मेरे गले लग गई और मेरे गालों को चूमते हुए बोली

श्रुति दीदी -
हैप्पी बर्थडे बाबू जन्मदिन की ढेर सारी सुभकामनाये ।

इतना बोलकर उन्होंने एक बॉक्स मेरी तरफ बढ़ा दिया जो कि मेरे जन्मदिन का तोहफा था और हर साल की तरह इस बार भी सबसे पहले वही बोली इसके बाद रेखा दीदी, प्रिया दीदी और सबसे लास्ट में काजल दीदी ने गिफ्ट दिया और मुझे बधाई दी। जिसमे रेखा दीदी ने एक आईफोन 14pro दिया था।श्रुति दीदी ने एक स्पोर्ट्स बाइक गिफ्ट किया था और काजल दीदी ने एक अच्छी सी स्मार्टवॉच गिफ्ट की थी और सबसे लास्ट में काजल दीदी ने अपनी पॉकेट मनी से बचा कर मेरे लिए एक शानदार ड्रेस दी थी शाम की पार्टी के लिए ।इसके बाद बड़े भैया ने भाभी के साथ मिलकर स्पोर्ट्स कार गिफ्ट की ।आज से पहले मुझे ना तो मोबाइल चलाने की छूट थी और न ही किसी तरह की ड्राइविंग करने की यह सब मुझे आज परिवार वालो की तरफ से गिफ्ट मिला । सबसे लास्ट में मम्मी और पापा खड़े थे तो मैं उनके पास गया और उनके पैर छूकर आशीर्वाद लिया और तब मम्मी और दोनों ने एक साथ आशीर्वाद दिया और फिर माँ ने अपने पास से एक नो लिमिट कार्ड दिया जो कि सभी भाई बहनों को उनके 18 वे जन्मदिन पर पापा की तरफ से दिया जाता था ।बस इस बार नोलिमिट कार्ड था और हर बार की लिमिट फिक्स होती थी।।।


इसके बाद सभी लोग एक साथ नाश्ता करने के लिए मेरा इन्तजार करने लगे क्यूंकि मैं फ्रेश होने के लिए अपने रूम में चला गया था। कुछ समय बाद मैं कालेज जाने के लिए तैयार होकर डाइनिंग टेबल पर आया जंहा पर सभी मेरा ही इन्तजार कर रहे थे।हर दिन की तरह आज भी श्रुति दीदी और रेखा दीदी मेरे दोनों साइड बैठ गयी और अपने प्लेट से खाना खिलाने लगी यह दोनों लोगो की बहुत पुरानी आदत थी जब तक मुझे ना खिला ले तब तक इनको खाना अच्छा नही लगता था ।एक दो बार खाने के बाद मैंने अपनी प्लेट से निकाल कर खिलाया तब जाकर उन दोनों लोगो ने अपना खाना सुरु किया।

नाश्ता करने के बाद सभी लोग अपने अपने काम और ऑफिस निकल गए। इधर मेरे नई कार जो कि दो सीटर थी ।जिसपर मेरे साथ काजल दीदी ने अपना कब्जा बना लिया और तब मैं और काजल दीदी दोनों ही कालेज के निकल लिए। अब काजल दीदी का तो यह दूसरा साल था पर मेरा तो पहला साल था और कॉलेज के पहला दिन तो मैं थोड़ा नर्वस भी था तो काजल दीदी मेरी तरफ देखते हुए बोली

काजल दीदी -
क्या हुआ हीरो पहले दिन डर लग रहा है कालेज जाने में कि कोई रैंगिग ना करने लगे तुम्हारे साथ।

अब यह बात सच थी तो भला मैं झूठ क्यों बोलता वह भी अपनी ही बहन से तो मैंने हा में सर हिला दिया तो वह अपनी फेस पर एक रहस्यमयी मुस्कान लाती हुई बोली


काजल दीदी - मैं तुम्हारी हेल्प तो कर सकती हूं लेकिन इसमें मेरा क्या फायदा होगा।।

काजल दीदी की बात सुनकर मैं हैरान होकर उनको देखने लगा फिर कुछ सोच कर बोला


मैं - दीदी आज साम को मेरी तरफ से आपको शॉपिंग फ्री है बस आप मेरी हेल्प कर दो।।

मेरी बात सुनकर काजल दीदी बुरा सा मुह बनाते हुए बोली


काजल दीदी - देख मैं तेरी हेल्प कर दूंगी पर तुझे वादा करना होगा कि जो मैं बोलूंगी तुझे करना होगा मेरी बात से मुकर नही सकते हो तुम।।

मुझे अपनी बहन पर पूरा यकीन था इसलिए बिना सोचे मैंने हा कर दिया और यही मेरी पूरी लाइफ की चेंजिग पॉइंट साबित हुई ।।
 

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