Romance फिर तेरी कहानी याद आई

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सभी दोस्तों को मेरा प्यार भरा नमस्कार। अपनी कहानी या आप बीती बताने से पहले मैं स्वय का परिचय देना उचित समझता हूँ। मेरा नाम अरिन्दम है, मैं कोलकाता से हूँ। मैं विज्ञान में ग्रेजुएट हूँ।

कोई हादसा बताने से पहले उसका वातावरण और परिस्थितियां बताना आव्श्यक होता है, नहीं तो कहानी समझने में परेशानी होती है।

ये उस समय की बात है जब मैंने अपनी सीनीयर सेकेन्ड्री की परीक्षा दे कर कॉलेज में दाखिल हो चुका था।

मैं एक किराये के मकान में रहता था जो मेरे मौसा का ही था। हमारा खुद का मकान तब तक बन कर तैयार नहीं हुआ था। इस मकान में हम तीन लोग रहते थे। मैं पापा और मां दूसरी मंजिल पर रहते थे और मौसाजी चौथे फ़्लोर पर रहते थे। मौसा का रिश्ता हमारे से करीब का रिश्ता था। मौसा की बेटी मुझसे दो साल छोटी थी। उसके साथ मेरा ताल मेल अच्छा था। वो मेरी बहन भी थी और एक अच्छी दोस्त भी थी।

मैं उसे अपनी दिल की कर एक बात बताता था। वो मेरी हर बात को ध्यान से सुनती थी। पिन्की रूपा की करीब की सहेली थी मतलब बेस्ट फ़्रेन्ड थी, जो रूपा के साथ एक ही क्लास में पढती थी। पिन्की बहुत खूबसूरत थी ये तो मैं नहीं कहूंगा। लेकिन उसमे कोई बात थी, कोई कशिश थी जो मेरे दिल को छू जाती थी। स्कूल से छूटने के बाद वो रोज ही मिलने के लिये हमारे अपार्टमेन्ट में आती थी, क्यूंकि रूपा के साथ रिश्ता बहुत अच्छा था। हम तीनो ही कभी कभी मूड होने पर खूब गप्पे मारते थे। कभी मौका मिलने पर मैं उन दोनो के साथ सिनेमा देखने भी जाता था।

इतना सब कुछ होने के बाद भी मैं पिन्की के साथ खुल कर बात नहीं कर पाता था। धीरे धीरे मुझे महसूस होने लगा था कि मैं उसे प्यार करने लगा हूँ। मैं अपने दिल की बात पिन्की को बताऊ, उससे पहले मैंने रूपा से पूछ लेना उचित समझा। इसलिये एक दिन मैंने साहस करके अपने दिल की बात रूपा को बता दी। पहले तो वो सुन कर हंस पड़ी, फिर सम्भलते हुये बोली – ये बहुत ही अच्छी बात है। फिर उसी से मुझे पता चला कि पिन्की भी मेरे बारे में रूपा से पूछताछ करती है। रूपा ने मुझे खुद ही आगे बढ कर प्यार का इजहार करने की सलाह दी।

उसने बताया कि ये काम तो वो भी कर सकती है लेकिन मेरे स्वयं को पिन्की को जाकर बताने से इसका असर बहुत अच्छा होगा। रूपा की सलाह के मुताबिक मैंने एक दिन अपनी हिम्मत जुटाई और हमारे अपार्टमेन्ट के नीचे जाकर खड़ा हो गया और फिर पिन्की के आने का इन्तज़ार करने लगा। पर हाय रे दिल ! मैंने जैसे ही पिन्की को देखा मेरी जबान सूखने लगी, तालू से चिपक कर रह गई। पसीना निकल पड़ा। अब तो वो मेरे बिलकुल नजदीक आ चुकी थी। मेरा दिल जोर जोर से धड़कने लगा। मेरी हालत देख कर पिन्की हंस पड़ी और नीचे खड़े होने की वजह पूछने लगी।

मुझे पता था कि ये प्यार के इजहार करने का सुनहरा मौका था। लेकिन मैं अन्दर से इतना बौखलाया हुआ था कि मैंने अपना यह सुनहरा मौका गवां दिया। मेरे मुख से निकल पड़ा – वो ,मेरा एक दोस्त आने वाला है इसलिये मैं उसके इन्तज़ार में नीचे खड़ा हूँ।

मेरे हकला कर बोलने से पिन्की फिर से एक बार और हंस पड़ी। मेरी हालत ये थी कि मैं तो अपनी तक भी उससे नहीं मिला पा रहा था।

मैंने बाद में रूपा को जो जो हुआ था सब बता दिया। उसे भी एक बार तो हंसी आ गई। फिर बोली उसे ये बात पता है, पिन्की ने उसे ये सब खुद बताया था। मुझे बेहाल देख कर रूपा ने फिर से कोशिश करने की सलाह दी।

देखते देखते तीन महिना गुज़र गया लकिन मैं हिम्मत नहीं जुटा पाया। इसी दौरान हमारा खुद का मकान पूरा बन चुका था। हम लोग नये घर में जाने की तैयारी कर रहे थे। एक रविवार के दिन मैं, मां, रूपा मौसा और मौसी मिलकर घर का कुछ सामान और गृह प्रवेश काकुछ सामान भी लेकर नये वाले घर में गये। पापा हर रविवार को दादा, दादी, चाचा और चाची से मिलने के लिये अपने गांव जाया करते थे, इसलिये वो हमारे साथ नहीं थे।

उस रविवार को मेरे घर पर मेरा एक दोस्त आने वाला था, इसलिये मैं सामान रख कर जल्दी ही वहां से निकल गया था। तभी यकायक मेरे मन में एक ख्याल आया कि रूपा और मौसी का तो नये घर में आने का कार्यक्रम तो सवेरे हू बना था। पिन्की को तो ये पता नहीं था। वो तो हर दिन की तरह आज भी रूपा से मिलने जरूर आयेगी। इस मौके को हाथ से नहीं जाने देना है। मैंने अपने दोस्त को फोन कर दिया कि मुझे आज नये घर मेजाना है इसलिये सोम वार को आना।

घर पहुंचते ही मुझे लगा कि यh मौका सुनहरा है। मैं ये मौका मिलने से बहुत रोमांचित होने लगा था। मौका को हाथ में लेने के लिये और प्यार का इजहार करने लिये मैं अपने आपको अलग ढंग से तैयार भी करने लगा। लेकिन जैसे ही पिन्की के आने का समय नजदीक आने लगा मेरा कोंफ़ीडेन्स बढने के बजाय डगमगाने लगा। इसी समय किसी के ऊपर आने की आवाज सुनकर मैंने दरवाजे के होल पर आंख लगा दी। देखा तो पिन्की रूपा से मिलने के लिये ऊपर ही आ रही थी। जैसे ही वो ऊपर चली गई तो मैं अपना दरवाजा खोल कर उसके लौटने का इन्तज़ार करने लगा।

कुछ समय बाद वो नीचे उतर कर आई तो मुझे देख कर उसने मुझे रूपा के बारे में पूछा। तो मैंने उसे कि वो मेरे पापा और मम्मी के साथ नये घर में गई हुई है। पिन्की जैसे ही पीछे मुड़ कर लौट जाने के लिये मुड़ी तो मैंने उसे कहा कि वो मेरे घर पर रूपा का इन्तज़ार कर ले। पहले तो ना करने लगी, पर मैंने उसे थोरा सा जोर दिया तो वो मान गई।

घर में घुसने के बाद मैंने उसे सोफ़ा पर बैठा दिया और खुद भी उसके सामने बैठ गया। पहले तो हम चुपचाप ही बैठे रहे, वो भी खामोश थी और मैं भी । फिर पिन्की ने ही पूछा कि मैं खामोश क्यू बैठा हूँ। जवाब में मैं हिचकिचा गया और मुझसे कोई जवाब नहीं देते बना।

कुछ देर बाद उसने मुझे एक गिलास पानी के लिये कहा। मैं उठ कर पानी लेने चला गया और मन ही मन में सोचा कि जब वो पानी पीने के बाद गिलास वापस देगी तो मैं उसका हाथ पकड़ लूंगा और प्यार का इजहार कर दूंगा। फिर मैंने वैसा ही किया और गिलास लौटाते समय मैंने उसका हाथ पकड़ लिया और मैंने उसे प्यार का इजहार कर दिया। इसके बाद हामरी बीच की बातचीत कुछ इस तरह से हुई।

मैं : पिन्की, मैं तुम से प्यार करता हूँ। क्या तुम भी मुझ से प्यार करती हो?

पिन्की : पता नहीं

मैं : देखो तुम कुछ तो बोलो ,तुम तो मुझे जानती हो, इस लिये प्लीज जो भी कहना हो मुझे बता दो।

यह बात सुनकर वो कुछ देर तक खमोश रही ओर उसके बाद उसने मेरे मन की बात ली और फिर वो मान गई। उसने बताया कि वो भी मुझसे प्यार करती है।

उसके बाद मैंने उसे अपनी बांहो में भर लिया और उसके होंठो को चूमने लगा। पांच मिनट तक हम एक दूसरे को जोश के साथ चूमते रहे। फिर मुझे ख्याल आया कि हमारे रूम की खिड़की खुली है। इसलिये मैं पिन्की को लेकर बेड रूम में चला गया।

पिन्की शर्माती और सकुचाती सी मेरे साथ चल पड़ी। मैंने उसे बेड पर लेटा दिया। वो झिझकती हुई बेड पर लेट गई। मैं भी धीरे से उसकी बगल में लेट गया। वो शर्मा कर मेरे से लिपट गई और मेरी छाती पर उसने अपना मुँह छुपा लिया। मैंने उसका चेहरा ऊपर करके उसे चूमना शुरू कर दिया था। उसकी सांसे उत्तेजना के मारे जोर जोर से चलने लगी थी। मैं समझ गया था कि वो भी मेरी तरह गरम हो चली है। मेरा लण्ड भी उसे चोदने के बेताब हो चला था। उसे खुली किताब की देख कर मेरा मन उसे चोदने को हो उठा । पर तभी मेरी नजर घड़ी पर पड़ी। मैं चौंक गया और झटपत उठ गया। पापा के लौटने का समय हो गया था। वो असंजस निगाहों से मुझे देखने लगी कि ये क्या हो गया । मैंने पिन्की को समझा दिया। हमारे प्यार का सफ़र बीच में ही रुक गया।

उस दिन के बाद मैं और पिन्की छुप छुप कर घूमने जाया करते थे। कभी कभी रूपा भी हमारे साथ हो लेती थी।
 
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Hello Everyone :hi: ,
We are Happy to present to you The Exclusive story contest of Lustyweb "The Exclusive Story Contest" (ESC)..

Jaisa ki aap sabko maalum hai abhi pichle hafte he humne ESC ki announcement ki hai or abhi kuch time Pehle Rules and Queries thread bhi open kiya hai or Chit chat aka discussion thread toh pehle se he Hindi section mein khulla hai.

Iske baare Mein thoda aapko btaadun ye ek short story contest hai jisme aap kissi bhi prefix ki short story post kar shaktey ho jo minimum 2000 words and maximum 8000 words takk ho shakti hai. Isliye main aapko invitation deta hun ki aap Iss contest Mein apne khayaalon ko shabdon kaa Rupp dekar isme apni stories daalein jisko pura Lustyweb dekhega ye ek bahot acha kadam hoga aapke or aapki stories k liye kyunki ESC Ki stories ko pure Lustyweb k readers read kartey hain.. Or jo readers likhna nahi caahtey woh bhi Iss contest Mein participate kar shaktey hain "Best Readers Award" k liye aapko bus karna ye hoga ki contest Mein posted stories ko read karke unke Uppar apne views dene honge.


Winning Writer's ko well deserved Awards milenge, uske aalwa aapko apna thread apne section mein sticky karne kaa mouka bhi milega Taaki aapka thread top par rahe uss dauraan. Isliye aapsab k liye ye ek behtareen mouka hai Lustyweb k sabhi readers k Uppar apni chaap chhodne ka or apni reach badhaane kaa.


Entry thread aaj yaani 5th February ko open hogaya hai matlab aap aaj se story daalna suru kar shaktey hain or woh thread 25 February takk open rahega Iss dauraan aap apni story daal shaktey hain. Isliye aap abhi se apni Kahaani likhna suru kardein toh aapke liye better rahega.


Koi bhi issue ho toh aap kissi bhi staff member ko Message kar shaktey hain..

Rules Check karne k liye Iss thread kaa use karein :- Rules And Queries Thread.

Contest k regarding Chit chat karne k liye Iss thread kaa use karein :- Chit Chat Thread.

Regards :Lweb Staff.
 

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